* भूमिका *
हमारा एकमात्र घर धरती.....
यह शब्द सुनते ही हमारे मन में नील समुन्द्र, हरे-भरे जंगल, ऊंचे पर्वत और चमकते आसमान की तस्वीर उभर आती हैं| यह सिर्फ एक ग्रह नही, बल्कि जीवन का पालना हैं| आज के समय में हम दुसरे ग्रहों की खोज कर रहे हैं, लेकिन अब तक यह साबित हो चूका हैं की धरती ही एकमात्र ऐसा स्थान हैं जहाँ जीवन पनप सकता हैं|
इस ब्लॉग में हम धरती के जन्म से लेकर इसके मौजूदा संकट और भविष्य तक का सफर तय करेंगे|
1. धरती का जन्म - 4.54 अरब पहले की कहानी:-
धरती की उत्पत्ति की कहानी सौर मंडल के निर्माण से जुड़ी हैं| लगभग 4.54 अरब साल पहले, अन्तरिक्ष में गैस और धुल का एक विशाल बादल सूर्य के निर्माण के बाद घूम रहा था|
गुरुत्वाकर्षण ने इन कणों को खीचकर एक पिघला हुआ गोला बना दिया|
* उस समय:-
. सतह पर पिघला हुआ लावा था
. वातावरण जहरीली गैसों (मीथेन, अमोनिया, कार्बन डाइ ऑक्साइड) से भरा था
. कोई महासागर, पेड़ या जीवन नही था
. धीरे-धीरे धरती ठंडी हुई, पानी जमा हुआ और जीवन के लिए परिस्थितियां बनीं|
2. पानी का आगमन - जीवन का बीज पानी धरती पर कैसे आया, यह आज भी एक रहस्य हैं| वैज्ञानिक दो प्रमुख सिद्धांत मानते हैं:-
* घुमकेतु सिद्धांत:- बर्फ से ढके घुमकेतु टकराकर पानी लाए|
* आंतरिक स्रोत सिद्धांत:- धरती के अंदर फंसी जल वाष्प ज्वालामुखी विस्फोटों से बाहर निकली|
किसी भी तरह, जब पानी महासागरों में जमा हुआ, तो यह जीवन की पहली प्रयोगशाला बन गया हैं|
3. जीवन की शुरुआत - महासागरों में छोटे जीव:-
लगभग 3.5 अरब साल पहले, महासागर में पहले सूक्ष्मजीव (Prokaryotes) पैदा हुए| ये प्रकाश संश्लेषण करने लगे और धीरे-धीरे ऑक्सीजन का निर्माण हुआ, जिससे वातावरण बदल गया और जटिल जीवन सम्भव हुआ|
4. धरती का भूगोल- नीला और हर मिश्रण धरती का कुल क्षेत्रफल:-
. 510.1 मिलियन वर्ग किलोमीटर
. 71% पानी - महासागर, समुन्द्र, झीलें, नदियाँ
. 29% भूमि - महाद्वीप, द्वीप, रेगिस्तान, पहाड़
* प्रमुख भौगोलिक विशेषताएं:-
. सबसे बड़ा महाद्वीप: एशिया ( 44.58 मिलियन वर्ग किमी )
. सबसे बड़ा महासागर: प्रशांत महासागर ( 168.72 मिलियन वर्ग किमी )
. सबसे ऊंचा पर्वत: माउन्ट एवरेस्ट ( 8,848 मीटर )
. सबसे गहरी जगह: मरियाना ट्रेंच ( 10,984 मीटर गहराई )
5. धरती का आंतरिक ढांचा धरती को परतों में बांटा गया हैं:-
. भूपर्पटी ( Crust): सबसे ऊपरी पतली परत ( महाद्वीपीय और महासागरीय )
. पृथ्वी का मौसम और जलवायु
. पृथ्वी का मौसम सूर्य की ऊर्जा, महासागर की धाराओं और वायुमंडलीय दबाव से नियंत्रित होता हैं
. चार मुख्य ऋतुएं: ग्रीष्म, वर्षा, शीत, वसंत
. ग्लोबल वार्मिंग और जलवायु परिवर्तन बड़ी चुनौतियाँ हैं
. भूकंप: टेक्टोनिक प्लेट्स की हलचल से
. ज्वालामुखी: मैग्मा का सतह पर आना
. पर्वत निर्माण: प्लेटों के टकराने से
. मैंटल ( Mantle): पिघला हुआ पत्थर और मैग्मा
. बाहरी कोर( Outer Core ): तरल लोहा और निकल
. आंतरिक कोर ( Inner Core ): ठोस लोहा, तापमान लगभग 5,700०C
. यही कोर धरती का चुम्बकीय क्षेत्र बनाता हैं, जो हमें हानिकारक सौर विकिरण से बचाता हैं
6. वातावरण - जीवन की सुरक्षा ढाल धरती का वातावरण 5 प्रमुख परतों में बंटा हैं:-
. क्षोभमंडल ( Troposphere ) - जहाँ मौसम बदलता हैं
. समतापमंडल ( Stratosphere ) - ओज़ोन परत यहीं हैं
. मध्यमंडल ( Mesosphere ) - उल्काओं का जलाना हैं
. तापमंडल ( Thermosphere ) - यहाँ ऑरोरा बनते हैं
. बहिर्मंडल ( Exosphere ) - अंतरिक्ष की सीमा
* गैस संरचना:
. 78% नाइट्रोजन
. 21% आक्सीजन
. 1% अन्य गैसें ( आर्गन, CO2, आदि )
7. मौसम और ऋतुएं - धुरी का जादू धरती की 23.5० झुकाव और सूर्य की परिक्रमा के कारण ऋतुएं बदलती हैं|
. उत्तरी गोलार्ध में गर्मी होने पर दक्षिण गोलार्ध में सर्दी होती हैं|
. दिन और रात की लम्बाई भी बदलती हैं|
8. जैव विविधता - जीवन का खजाना धरती पर लगभग 87 लाख ज्ञात प्रजातियाँ हैं|
. पशु: स्तनधारी, पक्षी, सरीसप, मछलियाँ
. पौधे: पेड़, फुल, घास
. सुक्ष्मजीव: बैक्टीरिया, वायरस, फंगस
. वर्षावन, प्रवाल भित्तियां और पर्वतीय क्षेत्र जैव विविधता के हॉटस्पॉट हैं|
9. धरती के अद्भुद तथ्य- हर साल लगभग 1.5 इंच ( 3.8 सेमी ) चंद्रमा दूर हो रहा हैं|
. अंटार्कटिका धरती का सबसे सुखा, ठंडा और तेज हवा महाद्वीप हैं|
. सहारा रेगिस्तान दिन में 50०C और रात में 0०C तक ठंडा हो सकता हैं|
10. मानव सभ्यता और धरती - मानव ने पिछले 10,000 वर्षो में धरती की सतह को बदल दिया हैं|
. जंगलों की जगह खेत और शहर
. नदियों पर बांध
. खनन और उद्दोग
. प्लास्टिक और रसायनों का उपयोग
11. धरती के सामने चुनौतियाँ जलवायु परिवर्तन - ग्लोबल वार्मिंग से हिमनद पिघल रहे हैं|
. वनों की कटाई: अमेजन जैसे वर्षोवनों का नाश
. प्लास्टिक प्रदुषण: समुन्द्र में लाखों टन कचरा
. जैव विविधता का नुकसान: कई प्रजातियाँ विलुप्त हो रही हैं
12. धरती की रक्षा - हमारा कर्तव्य पेड़ लगाना और वनों का संरक्षण
. नवीनीकरणीय ऊर्जा ( सौर, पवन ) का उपयोग
. जल संरक्षण
. प्लास्टिक का कम इस्तेमाल
. जैविक खेती और सतत जीवनशैली अपनाना
13. धरती का भविष्य - वैज्ञानिक दृष्टिकोण 5 अरब साल बाद: सूर्य एक लाल दानव ( Red Giant ) बनकर धरती को निगल सकता हैं|
. 100 मिलियन साल बाद: दिन 25 घंटे का हो सकता हैं|
. निकट भविष्य: अगर हमने प्रदुषण और तापमान वृद्धि को नही रोका, तो 2100 तक धरती 2-3०C गर्म हो जाएगी, जिससे समुन्द्र का स्तर 1 मीटर तक बढ़ सकता हैं|
14. धरती के बिना हम....
धरती के बिना मानव सभ्यता का कोई अस्तित्व नहीं| अंतरिक्ष में मौजूद ग्रह या तो बहुत ठंडे हैं, बहुत गर्म, या वहां सांस लेने लायक हवा नही हैं| धरती का यह अनोखा संतुलन हमें जिन्दा रखता हैं|
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* निष्कर्ष *
धरती सिर्फ एक ग्रह नही - यह हमारा अतीत, वर्तमान और भविष्य हैं| इसकी खूबसूरती को बचाना हमारी जिम्मेदारी हैं, ताकि आने वाली पीढ़ियाँ भी नीले आसमान और हरी धरती का आनंद लें सकें|
हमे विज्ञान, तकनीक और अपनी आदतों में बदलाव करके धरती को एक सुरक्षित, स्वस्थ और सुन्दर स्थान बनाए रखना होगा|
* Disclaimer *
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